Bihar News: बिहार में अवैध कब्जे पर बुलडोजर एक्शन के बीच सचिवालय में शुरु हुआ तोड़फोड़, सम्राट चौधरी हैं कारण? जानिए क्या है पूरा मामला

Bihar News: बिहार में अवैध कब्जे पर बुलडोजर एक्शन के बीच अब मुख्य सचिवालय में भी तोड़फोड़ की जा रही है। इस तोड़फोड़ की वजह भी कहीं ना कहीं सम्राट चौधरी ही मानें जा रहे हैं आखिर ऐसा क्यों कहा जा रहा आइए जानते हैं...

सीएम नीतीश सम्राट चौधरी
सचिवालय में चल रहा तोड़फोड़ - फोटो : social media

Bihar News: बिहार में इन दिनों नए गृह मंत्री सम्राट चौधरी का बुलडोजर एक्शन चर्चा में है। पटना से लेकर पूरे बिहार में अवैध कब्जे पर कार्रवाई की जा रही है। अवैध कब्जे पर बुलडोजर चला उसको हटाया जा रहा है। बुलडोजर एक्शन के बीच में अब सचिवालय परिसर में भी हथौड़े चलने लगे हैं। दिवारों को तोड़े जा रहे हैं। हालांकि सचिवालय में हो रही तोड़फोड़ अवैध कब्जा हटाने के लिए नहीं, बल्कि प्रशासनिक जरूरतों के तहत गलियारों को चौड़ा करने के उद्देश्य से की जा रही है। 

सम्राट चौधरी के कारण हो रही तोड़फोड़? 

बताया जा रहा है कि सचिवालय में भी सम्राट चौधरी के कारण ही तोड़फोड़ चल रही है। बता दें कि, सचिवालय में सीएम नीतीश सहित सरकार के तमाम मंत्रियों का कार्यालय मौजूद है। लेकिन सचिवालय की आंतरिक सरंचना में बदलाव को लेकर तोड़फोड़ किया जा रहा है। दरअसल, मुख्य सचिवालय में नई जरुरतों के हिसाब से बदलाव किया जा रहा है। दो उपमुख्यमंत्री होने के बाद सीएम नीतीश तक पहुंचने वाले रास्तों में दिक्कत आ रही है। जिसे दूर करने के लिए सचिवालय में काम जारी है। 

संकरे गलियारों को किया जा रहा चौड़ा 

जानकारी अनुसार मुख्य सचिवालय के दक्षिणी हिस्से (पुलिस मुख्यालय की ओर) और उत्तरी हिस्से को जोड़ने वाला गलियारा काफी संकरा है। अधिकारियों और मंत्रियों के आने-जाने के दौरान यहां अक्सर परेशानी होती है। स्थिति यह है कि आमने-सामने दो लोगों का एक साथ निकलना भी मुश्किल हो जाता है। इसी समस्या को देखते हुए अब इस गलियारे को चौड़ा करने का निर्णय लिया गया है।

दो डिप्टी सीएम बनने के बाद बढ़ी परेशानी

नई सरकार में दो उप मुख्यमंत्री हैं। डिप्टी सीएम विजय कुमार सिन्हा का चैंबर मुख्य सचिवालय के उत्तरी छोर पर स्थित है। उन्हें नियमित रूप से कैबिनेट बैठकों के लिए कैबिनेट हॉल जाना होता है। इसके लिए जो सीधा रास्ता है, वह बेहद तंग है। वैकल्पिक रास्ता लंबा पड़ता है, जिसमें पहली मंजिल से नीचे उतरकर वाहन से घूमते हुए दोबारा पहली मंजिल पर पहुंचना होता है। इससे समय और असुविधा दोनों बढ़ जाती हैं।

20 साल बाद बन रह गृह मंत्री का चैंबर 

वहीं, उप मुख्यमंत्री सह गृह मंत्री सम्राट चौधरी का नया चैंबर भी मुख्य सचिवालय में बनाया जा रहा है। करीब 20 वर्षों बाद मुख्य सचिवालय में गृह मंत्री का अलग चैंबर बन रहा है। यह कमरा मुख्य सचिवालय के दक्षिणी हिस्से में कमरा संख्या 284 में तैयार किया जा रहा है। जहां वर्ष 2018 से पहले डीजीपी का कार्यालय हुआ करता था। मौजूदा संकरे रास्ते से गृह मंत्री को भी मुख्यमंत्री के पास जाने में परेशानी हो सकती थी, इसी कारण गलियारे को चौड़ा करने का फैसला लिया गया है।

इन विभागों के कार्यालय तोड़े जा रहे

गलियारा चौड़ा करने के लिए मुख्य सचिवालय में स्थित कई विभागों के कमरों को तोड़ा जा रहा है। इनमें मुख्यमंत्री कार्यालय से जुड़े कुछ कमरे, खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग, कैबिनेट सचिवालय और सामान्य प्रशासन विभाग के कार्यालय शामिल हैं। खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग जदयू कोटे में है। जिसके मंत्री लेशी सिंह हैं, जबकि कैबिनेट सचिवालय स्वयं मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के अधीन है। अब तक एक कमरा तोड़ा जा चुका है, जबकि अन्य कमरों को खाली कराकर जल्द ध्वस्त किया जाना है। संबंधित विभागों के कार्यालयों को सचिवालय के अन्य हिस्सों में शिफ्ट किया जा रहा है।

प्रोटोकॉल सेक्शन भी होगा शिफ्ट

सीएम और डिप्टी सीएम के चैंबर के बीच स्थित कैबिनेट सचिवालय का प्रोटोकॉल सेक्शन भी इस तोड़फोड़ की जद में है। यही सेक्शन प्रधानमंत्री, राष्ट्रपति, उपराष्ट्रपति, राज्यपाल, विदेशी अतिथियों और मंत्रियों-विधायकों के प्रोटोकॉल से जुड़े कार्यों को देखता है। स्टेट गेस्ट कार्यक्रम, विदेश यात्राओं की व्यवस्था और दिल्ली में ठहराव जैसी जिम्मेदारियां भी इसी कार्यालय से संचालित होती रही हैं। अब इस प्रोटोकॉल सेक्शन को भी दूसरी जगह स्थानांतरित किया जा रहा है। इसके अलावा खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण विभाग के संयुक्त सचिव समेत पांच वरिष्ठ अधिकारियों के कमरे भी तोड़े जाएंगे। इन अधिकारियों को सचिवालय के अन्य कमरों में शिफ्ट किया जा रहा है।