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सवर्ण सांसदों को भेजी गई चूड़ी, टिकुली व सिन्दूर, कहा - सवर्ण विरोधी नीतियों का विरोध करो

सवर्ण सांसदों को भेजी गई चूड़ी, टिकुली व सिन्दूर, कहा - सवर्ण विरोधी नीतियों का विरोध करो

LAKHISARAI : मेडिकल प्रवेश परीक्षा NEET में पिछड़े वर्ग (OBC) को ऑल इंडिया कोटा में 27% आरक्षण मिलने के बाद सवर्ण समुदाय में काफी आक्रोश है, लगातार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत सवर्ण नेताओं का विरोध हो रहा है। प्रधानमंत्री मोदी द्वारा नीट में 27% रिजर्वेशन ऐलान करने के बाद से ही ट्विटर पर सरकार के विरोध में कैम्पेन चल रहा है। लोग प्रधानमंत्री को केवल ओबीसी का प्रधानमंत्री बता रहें हैं, लोगों ने मोदी के ऊपर सवर्णों और पिछड़ों में भेदभाव करने का आरोप लगाया है। वहीं  #NEET_मेंआरक्षण वापस_लो जैसे हैशटैग ट्विटर पर टॉप में ट्रेंड करता रहा।

आरक्षण को लेकर राष्ट्रीय जन जन पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष आशुतोष कुमार ने भी सरकार के इस निर्णय का विरोध किया है और चेतावनी दिया है कि अगर सरकार इसे जल्द वापस नहीं लेती तो उनकी पार्टी सड़कों पर होगी। वहीं भुमिहार ब्राह्मण एकता मंच फाउंडेशन के अंकित चन्द्रायण ने सारण से भाजपा सांसद राजीव प्रताप रूडी को चूड़ी भेजा है। अंकित चन्द्रायण ने बताया कि उनके संगठन के सभी जिलों के कार्यकर्ता अपने अपने सांसदों को चूड़ी, टिकुली एवं सिंदूर भेज रहें हैं। उन्होंने कहा कि सरकार के सवर्ण विरोधी नीतियों के खिलाफ बोलने के बजाय ये सवर्ण सांसद जो सवर्णों के वोट के बल पर संसद पहुँचे हैं एवं सवर्णों के खिलाफ की जा रही साजिश पर मौन साधे हुए हैं। सवर्ण सांसदों की चुप्पी उनकी कायरता को दर्शाता है इसलिए हमने उन्हें चूड़ी,टिकुली एवं सिंदूर भेजा है। 

सांसदों का होगा बहिष्कार

अंकित ने कहा कि अगर सवर्ण सांसद इसी तरह सरकार के हर सवर्ण विरोधी नीतियों का मौन समर्थन करेंगे तो राज्य में घूम घूमकर इन सांसदों का सामुहिक बहिष्कार किया जाएगा। NEET में 27% ओबीसी आरक्षण इसी सत्र से लागू किया जाएगा इसके लागू होने के बाद 11027 मेडिकल के UG एवं PG सीटों का नुकसान सवर्ण छात्रों को होगा। एक तरफ देश की सरकार EWS कोटे के छात्रों को प्रतियोगी परीक्षाओं में उम्रसीमा एवं परीक्षा शुल्क में छूट देने के लिए तैयार नहीं है। वहीं साल दर साल पिछड़ों एवं दलितों का आरक्षण का दायरा बढ़ाते जा रही है। अब कई राजनीतिक दल जातिगत जनसंख्या करवाकर जाति के अनुपात में आरक्षण लागू करने की बात कर रही है।

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