PATNA : नीतीश कुमार अपनी फिटनेस के लिए क्या घर में योग करते हैं ? सवाल इस लिए लाजिमी है क्यों कि इसी आधार पर उनके योग कार्यक्रम में शामिल नहीं होने को सही ठहराया जा रहा है। अगर अतीत के पन्नों को पलटें तो नीतीश कुमार का योग से जुड़ा एक बहुत दिलचस्प प्रकरण है।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार 2012 में पाकिस्तान की यात्रा पर गये थे। इस यात्रा के दौरान वे प्राचीन विश्वविद्यालय तक्षशिला के पुरावशेष को भी देखने गये थे। तक्षशिला म्यूजिम के बगल में जौलियां मठ है जहां देवल बुद्ध की प्रतिमा है। मठ की दीवार पर प्लास्टर से बनी महात्मा बुद्ध की आकृति है जिसके पेट में एक छेद है। मान्यता है कि इस छेद में उंगली डालने से कोई भी मनौती पूरी हो जाती है।
मठ में जाने के लिए पहाड़ों को काट कर सीढ़िया बनायी गयीं हैं। सीढ़ियां कदम खड़ी हैं जिस पर चढ़ना बहुत कठिन है। नीतीश कुमार जब मठ में जाने के लिए सीढ़ियों पर चढ़ने लगे तो आधे रास्त में ही वे बुरी तरह थक गये और हांफने लगे थे। वे सुस्ताने के लिए सीढ़ियों पर सहारा ले कर खड़े हो गये थे।
नीतीश कुमार अपनी हालत देख कर कहने लगे-यह ठीक नहीं है। उन्होंने अपने सहयोगियों से कहा- मैं जब भी सुबह कसरत नहीं करता हूं तो ऐसा हो जाता है। अगर नियमित रूप से योगभ्यास करता तो ये स्थिति नहीं होती और एक ही बार में मठ पहुंच जाता। पाकिस्तान यात्रा में मेरी ऐसी व्यस्तता हो गयी है कि मुझे योग के लिए समय नहीं मिल रहा।
नीतीश कुमार ने अपनी फिटनेस को लेकर एक खास टिप्पणी की थी। कुछ समय पहले सीएम आवास पर जदयू की राज्य कार्यकारिणी की बैठक हुई थी। इस दौरान एक महिला ने कहा था- जुग जुग जिएं नीतीश कुमार जी, मेरी उमर भी आपको लग जाए। तब नीतीश कुमार ने हंसते हुए कहा था कि मेरी उमर ही क्या है, अभी तो 66 का हूं। अभी 10 साल और काम करना है। 10 साल के बाद ऐसी दुआ की जरूरत पड़ सकती है। अभी मेरी चिंता मत कीजिए।